Logo

जनवरी में शादी के 10 शुभ मुहूर्त

जनवरी में शादी के 10 शुभ मुहूर्त

खरमास खत्म होते ही जनवरी में इन 10 तारीखों में कर सकते हैं शादी, देखे शुभ मुहूर्त की पूरी लिस्ट 


हिंदू धर्म में खरमास का विशेष महत्व है। यह वह अवधि होती है जब सूर्य देव धनु राशि में प्रवेश करते हैं और गुरु ग्रह के साथ युति बनाते हैं। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, इस अवधि में सूर्य और गुरु दोनों ही प्रभावहीन हो जाते हैं जिसके कारण शुभ कार्यों पर रोक लग जाती है। सूर्य देव हर राशि में लगभग 30 दिनों तक रहते हैं। वहीं आज सूर्य देव धनु राशि से निकलकर मकर राशि में प्रवेश कर चुके हैं, इसलिए खरमास का समापन हो चुका है और अब जल्द ही शहनाइयां गूंजने वाली है। अब ऐसे में जनवरी महीने में शादी के कुल कितने मुहूर्त हैं। इसके बारे में भक्त वत्सल के इस लेख में विस्तार से जानते हैं। 


जनवरी महीने में विवाह के शुभ मुहूर्त 


नया साल 2025 शादियों के लिए बेहद शुभ माना जा रहा है। ज्योतिषाचार्य के अनुसार, इस साल जनवरी से लेकर दिसंबर तक कई शुभ मुहूर्त हैं, जिनमें शादियां करना बेहद शुभ फलदायी होगा। आइए जनवरी महीने में शादी के मुहूर्त के बारे में जानते हैं। आपको बता दें, जनवरी- 16, 17, 18, 19, 20, 21, 22, 24, 26 और 27 जनवरी सभी विवाह के लिए शुभ तिथियां रहने वाली हैं। 


  • 16 जनवरी 2025 - इस दिन विवाह का शुभ मुहूर्त है। साथ ही तृतीया तिथि और नक्षत्र मघा है।
  • 17 जनवरी 2025 - इस दिन तिथि चतुर्थी और नक्षत्र मघा है। विवाह के लिए शुभ मुहूर्त है। 
  • 19 जनवरी 2025 - यह दिन विवाह के लिए शुभ है। इस दिन तिथि षष्ठी और नक्षत्र उत्तर फाल्गुनी है। 
  • 20 जनवरी 2025 - इस दिन तिथि षष्ठी और नक्षत्र हस्त है। साथ ही विवाह का शुभ मुहूर्त है। 
  • 21 जनवरी 2025 - इस दिन तिथि अष्टमी और नक्षत्र रेवती है। साथ ही विवाह का शुभ मुहूर्त है। 
  • 22 जनवरी 2025 - इस दिन तिथि अष्टमी और नक्षत्र रेवती है। साथ ही विवाह का शुभ मुहूर्त है। 
  • 23 जनवरी 2025 - इस दिन तिथि दशमी और नक्षत्र अनुराधा है। साथ ही विवाह का शुभ मुहूर्त है। 
  • 24 जनवरी 2025 - इस दिन तिथि दशमी और नक्षत्र अनुराधा है। साथ ही विवाह का शुभ मुहूर्त है। 
  • 26 जनवरी 2025 - इस दिन तिथि द्वादशी और नक्षत्र मूल है। साथ ही विवाह का शुभ मुहूर्त है। 
  • 27 जनवरी 2025 - इस दिन तिथि त्रयोदशी और नक्षत्र मूल है। साथ ही विवाह का शुभ मुहूर्त है। 


खरमास में मांगलिक कार्य क्यों नहीं किए जाते हैं?


खरमास, जो हिंदू कैलेंडर के अनुसार सूर्य के मकर राशि में प्रवेश करने के समय से शुरू होता है, एक खास समय माना जाता है। इस समय में लोग मांगलिक कार्य जैसे विवाह, घर की पूजा, गृह प्रवेश आदि नहीं करते हैं। खरमास को एक ऐसे समय के रूप में देखा जाता है, जब सूर्य की स्थिति पृथ्वी पर अच्छे प्रभाव नहीं डालती। इसी कारण से इस समय मांगलिक कार्यों से बचने की परंपरा है, ताकि किसी प्रकार की बाधाएं और विघ्न न आएं। 


........................................................................................................
जय दुर्गा शक्तिपीठ, झारखंड

बाबा बैद्यनाथ ज्योतिर्लिंग धाम में स्थित है जय दुर्गा शक्तिपीठ, मंदिर में रेशम बांधने की परंपरा

दंतेश्वरी शक्तिपीठ, छत्तीसगढ़ (Danteshwari Shaktipeeth, Chhattisgarh)

देशभर में आदिवासियों की देवी के रूप में मशहूर हैं दंतेवाड़ा की दंतेश्वरी देवी, नवरात्रि पर होती है गुप्त पूजा

बिरजा देवी शक्तिपीठ, ओडिशा (Biraja Devi Shaktipeeth, Odisha)

एक करोड़ शिवलिंग वाली भूमि है जाजपुर, एकमात्र शक्तिपीठ जहां दो भुजाओं वाली महिषासुर मर्दिनी

नागपूशनी शक्तिपीठ, श्रीलंका (Nagpushani Shaktipeeth, Sri Lanka)

श्रीलंका के नागद्वीप पर मौजूद है नागपूशनी शक्तिपीठ, नाग की भक्ति देख हीरों के व्यापारी ने करवाया था निर्माण

यह भी जाने

संबंधित लेख

HomeAartiAartiTempleTempleKundliKundliPanchangPanchang