सितंबर का महीना धीरे-धीरे वर्षा ऋतु के समापन और शरद ऋतु की शुरुआत का संकेत देता है। इस समय वातावरण में नमी कम होने लगती है, मौसम सुहावना होता है और प्रकृति संतुलित रूप में दिखाई देती है। यही कारण है कि यह महीना धार्मिक और सांस्कृतिक गतिविधियों के लिए अत्यंत शुभ माना जाता है। ऐसे समय में यदि कोई धार्मिक संस्कार, विशेषकर मुंडन संस्कार (चूड़ाकर्म संस्कार) संपन्न किया जाए, तो उसे न केवल आध्यात्मिक लाभ प्राप्त होता है, बल्कि यह बच्चे के लिए स्वास्थ्य की दृष्टि से भी अनुकूल माना जाता है। मुंडन संस्कार हिंदू धर्म में 16 प्रमुख संस्कारों में से एक है, जो बच्चे के बाल्यकाल की अशुद्ध ऊर्जा को हटाकर उसके जीवन में शुभता और तेज का संचार करता है। आइए जानते हैं कि सितंबर 2025 में मुंडन संस्कार के लिए कौन-कौन से शुभ मुहूर्त उपलब्ध हैं, ताकि आप इस पवित्र अनुष्ठान को श्रेष्ठ समय में संपन्न कर सकें।
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, सितंबर माह में मुंडन संस्कार के लिए कोई विशेष शुभ मुहूर्त उपलब्ध नहीं है। इस अवधि में पंचांग और नक्षत्रों की स्थिति मुंडन के लिए अनुकूल नहीं है, जिसके कारण इस अवधि में मुंडन संस्कार से बचने की सलाह दी जाती है। हालांकि, कुछ लोग शारदीय नवरात्रि के दौरान मुंडन संस्कार का आयोजन करते हैं, क्योंकि इसे पवित्र और शुभ समय माना जाता है। यदि आप अगस्त से दिसंबर के बीच मुंडन कराने की योजना बना रहे हैं, तो यह जरूरी है कि आप ज्योतिषी की सलाह लें और बच्चे की कुंडली, नक्षत्र और ग्रहों की स्थिति के आधार पर व्यक्तिगत मुहूर्त का निर्धारण करें। मुंडन संस्कार एक महत्वपूर्ण अनुष्ठान है, जो शारीरिक और आध्यात्मिक शुद्धि के लिए किया जाता है। यह बच्चे के जीवन में एक नए अध्याय की शुरुआत का प्रतीक है। इसलिए इसे सही समय पर और विधि-विधान से करना आवश्यक है। आप भी अपने बच्चों के मुंडन की योजना बनाने से पहले ज्योतिषी की सलाह ले सकते हैं और शुभ मुहूर्त के अनुसार आयोजन कर सकते हैं।
सनातन धर्म में मुंडन संस्कार एक अनिवार्य संस्कार माना जाता है, जिसे शुभ मुहूर्त में संपन्न कराया जाता है। इसका धार्मिक और वैज्ञानिक दोनों दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण माना जाता है।
मुंडन संस्कार एक पारंपरिक और सांस्कृतिक महत्व रखता है, जो परिवार और समाज में सम्मान और प्रतिष्ठा को बढ़ाता है।