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पितु मातु सहायक स्वामी सखा, तुम ही एक नाथ हमारे हो।
जिनके कुछ और आधार नहीं, तिनके तुम ही रखवारे हो।
सब भाँति सदा सुखदायक हो, दुःख निर्गुण नाशन हारे हो।
प्रतिपाल करो सिगरे जग को, अतिशय करुणा उर धारे हो।
भुलि हैं हम तो तुमको, तुम तो, हमरी सुधि नाहिं बिसारे हो।
उपकारन को कछु अन्त नहीं, छिन ही छिन जो विस्तारे हो।
महाराज महा महिमा तुम्हरी, मुझसे बिरले बुधवारे हो।
शुभ शान्ति निकेतन प्रेमनिधि, मन मन्दिर के उजियारे हो।
इस जीवन के तुम जीवन हो, इन प्राणन के तुम प्यारे हो।
तुम सों प्रभु पाय 'प्रताप' हरि, केहि के अब और सहारे हो।
भगवान ब्रह्मदेव की जय
ब्रह्मा जी की आरती किसी भी दिन की जा सकती है, लेकिन इन दिनों में करना विशेष रूप से शुभ माना जाता है:
1. चतुर्थी तिथि: चतुर्थी तिथि के दिन ब्रह्मा जी की आरती करना विशेष रूप से शुभ माना जाता है।
2. ब्रह्मा जयंती: ब्रह्मा जयंती के दिन ब्रह्मा जी की आरती करना विशेष रूप से शुभ माना जाता है।
3. सोमवार: सोमवार का दिन ब्रह्मा जी को समर्पित है, इसलिए इस दिन आरती करना विशेष रूप से शुभ माना जाता है।
4. पूर्णिमा: पूर्णिमा के दिन ब्रह्मा जी की आरती करना शुभ माना जाता है।
इसके अलावा, आप ब्रह्मा जी की आरती किसी भी शुभ मुहूर्त में कर सकते हैं, जैसे कि:
- सुबह सूर्योदय के समय
- शाम सूर्यास्त के समय
- रात्रि में दीपक जलाने के समय
- ब्रह्मा आरती करने का सबसे अच्छा समय ब्रह्म मुहूर्त है, जो सूर्योदय से लगभग 1.5 घंटे पहले का शुभ समय होता है।
आरती करने से पहले स्नान करें और साफ कपड़े पहनें। आरती के दौरान ब्रह्मा जी की मूर्ति या चित्र के सामने बैठें और दीपक जलाएं। आरती के बाद, प्रसाद वितरित करें।
1. ज्ञान और बुद्धि की वृद्धि: ब्रह्मा जी की आरती करने से ज्ञान और बुद्धि में वृद्धि होती है।
2. सृष्टि और रचनात्मकता की शक्ति: ब्रह्मा जी की आरती करने से सृष्टि और रचनात्मकता की शक्ति में वृद्धि होती है।
3. आध्यात्मिक ज्ञान की प्राप्ति: ब्रह्मा जी की आरती करने से आध्यात्मिक ज्ञान की प्राप्ति होती है।
4. जीवन में नवीनता और उत्साह: ब्रह्मा जी की आरती करने से जीवन में नवीनता और उत्साह आता है।
5. संकटों से मुक्ति: ब्रह्मा जी की आरती करने से संकटों से मुक्ति मिलती है।
6. मानसिक शांति और संतुष्टि: ब्रह्मा जी की आरती करने से मानसिक शांति और संतुष्टि मिलती है।
7. आत्मविश्वास और साहस की वृद्धि: ब्रह्मा जी की आरती करने से आत्मविश्वास और साहस में वृद्धि होती है।
8. जीवन में सफलता और समृद्धि: ब्रह्मा जी की आरती करने से जीवन में सफलता और समृद्धि की प्राप्ति होती है।
9. पापों का नाश और पुण्य की प्राप्ति: ब्रह्मा जी की आरती करने से पापों का नाश और पुण्य की प्राप्ति होती है।
10. मोक्ष की प्राप्ति: ब्रह्मा जी की आरती करने से मोक्ष की प्राप्ति होती है।