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खरना पूजा पर गुड़ की खीर की रेसिपी

खरना पूजा पर गुड़ की खीर की रेसिपी

Kharna Kheer Recipe: खरना पूजा पर बनाई जाती है गुड़ की खीर, यहां जानें सरल और आसान रेसिपी

Kharna 2025 Kheer Recipe: छठ पूजा का दूसरा दिन सबसे पवित्र दिन होता है, जिसे खरना या लोहंडा भी कहा जाता है। इस दिन व्रती महिलाएं पूरे दिन निर्जला उपवास रखती हैं और सूर्यास्त के बाद भगवान सूर्य और छठी मैया की पूजा करती हैं। ऐसी मान्यता है कि इसी दिन छठी मैया घर में प्रवेश करती हैं और व्रती को आशीर्वाद प्रदान करती हैं। पूजा के बाद व्रती महिलाएं गुड़ की खीर का प्रसाद ग्रहण कर 36 घंटे के निर्जला व्रत का संकल्प लेती हैं। आइए जानते हैं, गुड़ की खीर की आसान और पारम्परिक रेसिपी। 

खरना पूजा पर इन सामग्रियों से बनाएं गुड़ की खीर

  • दूध: 1.5 लीटर (फुल क्रीम)
  • चावल: आधा कप (साठी या गोबिंदो भोग)
  • गुड़: 100 ग्राम (स्वादानुसार कम या ज्यादा)
  • देसी घी: 2 चम्मच
  • काजू: 10-12
  • किशमिश: 2 बड़े चम्मच
  • इलायची पाउडर: आधा चम्मच
  • पिस्ता और बादाम: सजाने के लिए

गुड़ की खीर बनाने की आसान और पारंपरिक विधि 

  • चावल को अच्छी तरह धोकर आधे घंटे के लिए भिगो दें, फिर पानी छान लें।
  • एक गहरे और मोटे मिट्टी या तांबे के बर्तन में दूध को उबालने के लिए रखें।
  • जब दूध में उबाल आ जाए, तो इसमें भिगोए हुए चावल डालें और धीमी आंच पर पकाएं।
  • खीर को बीच-बीच में चलाते रहें जब तक चावल पूरी तरह पक न जाएं और दूध गाढ़ा न हो जाए।
  • एक अलग पैन में देसी घी गरम करें और काजू व किशमिश को हल्का भून लें।
  • पकी हुई खीर को गैस से उतारकर हल्का ठंडा होने दें।
  • अब गुड़ को बारीक तोड़कर गर्म पानी में घोल लें या धीमी आंच पर हल्का पिघला लें। ध्यान रहे कि चाशनी न बने।
  • जब खीर हल्की ठंडी हो जाए, तब उसमें गुड़, भुने हुए ड्राई फ्रूट्स और इलायची पाउडर डालकर अच्छी तरह मिलाएं।
  • कटे हुए बादाम और पिस्ता से सजाकर इसे प्रसाद के रूप में अर्पित करें।

गुड़ की खीर से शरीर और मन को मिलता है संतुलन 

गुड़ की खीर को खरना प्रसाद कहा जाता है। इसका विशेष महत्व इसलिए है क्योंकि व्रती इसी से 12 घंटे का व्रत तोड़ते हैं और अगले 36 घंटे के कठोर निर्जला व्रत की शुरुआत करते हैं। धार्मिक परंपरा के अनुसार, गुड़ की खीर पवित्रता, संयम और श्रद्धा का प्रतीक है। मान्यता यह भी है कि गुड़ का स्वाद सूर्य की ऊष्मा का प्रतीक है और इसे दूध के साथ मिलाकर तैयार करने से शरीर और मन दोनों को संतुलन मिलता है। 

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