ग्रेटर नोएडा का सबसे बड़ा कालीबाड़ी मंदिर, छह हजार वर्ग किमी में फैला है मंदिर
ग्रेटर नोएडा काली मंदिर अभी निर्माणाधीन है। ग्रेटर नोएडा काली बाड़ी की परिकल्पना का प्रारूप सन् 2003 से ही ग्रेटर नोएडा शारदीय संस्कृति समिति द्वारा तैयार कर लिया गया था। हालांकि ग्रेटर नोएडा काली मंदिर अभी भी निर्माणाधीन अवस्था में है। मंदिर में अभी माँ काली और भगवान शिव उपस्थित है। लेकिन पूर्ण होने पर मंदिर में श्री राधा-कृष्ण धाम की स्थापना भी की जाएगी।
मंदिर की विशेषता
ग्रेटर नोएडा में स्थित कालीबाड़ी मंदिर एनसीआर का सबसे बड़ा और प्रसिद्ध मंदिर है। यहां हर साल दुर्गा पूजा के दौरान विशाल और भव्य पंडाल का निर्माण किया जाता है। नोएडा और आसपास के क्षेत्रों से भारी संख्या में श्रद्धालु दुर्गा पूजा के अवसर पर कालीबाड़ी मंदिर आते हैं। काली मंदिर का 6,000 वर्ग मीटर बड़ा प्रांगण इसे ग्रेटर नोएडा के सबसे बड़े कालीबाड़ी की श्रेणी में खड़ा करता है।
यहां सन् 2012 से निर्माणाधीन मंदिर प्रांगण में दुर्गा पूजा का आयोजन किया जा रहा है। मंदिर में महीने की प्रत्येक अमावस्या को पूजा का आयोजन और प्रत्येक पूर्णिमा को श्री सत्यनारायण कथा का वाचन किया जाता है। बता दें कि मंदिर के परिसर में प्रसाद, जूता स्टोर, पार्किंग और बैठने की बेंच की सुविधाएं उपलब्ध हैं।
कैसे पहुंचे
मंदिर पहुंचने के लिए निकटतम रेलवे स्टेशन दादरी है। आप यहां से मंदिर तक पहुंचने के लिए ऑटो या कैब कर सकते हैं।
समय : सुबह 9 बजे से सुबह 11:30 बजे, शाम 6 बजे से रात 9 बजे तक
प्रदोष व्रत सनातन धर्म में एक महत्वपूर्ण व्रत है, जो भगवान शिव की पूजा के लिए समर्पित है। हर महीने दो प्रदोष व्रत और पूरे साल में 24 व्रत होते हैं।
'मंत्र' का अर्थ है मन को एकाग्र करने और अनावश्यक विचारों से मुक्त करने का एक सरल उपाय। आज की तेज़ भागदौड़ भरी ज़िंदगी में मानसिक शांति प्राप्त करना अत्यंत कठिन हो गया है।
हम नैन बिछाए है,
हे गणपति आ जाओ ॥
हम राम जी के, राम जी हमारे हैं ।
हम राम जी के, राम जी हमारे हैं ।