Logo

प्राचीन श्री शिव शक्ति मंदिर, वैशाली

प्राचीन श्री शिव शक्ति मंदिर, वैशाली

वैशाली का सबसे पुराना प्रसिद्ध शिव-पार्वती मंदिर, हनुमान जयंती पर लगता है 50 किलो का भोग 


महादेव और माँ आदिशक्ति को समर्पित वैशाली का सबसे पुराना गौरी-शंकर मंदिर जो प्राचीन श्री शिव शक्ति मंदिर के नाम से जाना जाता है। वहां के स्थानीय लोग साधारण बोलचाल की भाषा में इसे सेक्टर-2 शिव मंदिर के नाम से संबोधित करते हैं। यह गौरी-शंकर मंदिर, वैशाली के सबसे प्रसिद्ध महागुन मेट्रो मॉल से 300 मीटर की दूरी पर है। अगर आप भी यहां दर्शन करने के लिए जाना चाहते है तो इस मंदिर में प्रवेश नि:शुल्क है। 


इस मंदिर की स्थापना सन् 1998 में हुआ था। मंदिर के परिसर में प्रसाद, आरओ वॉटर, वॉटर कूलर, शू स्टोर, वॉशरूम, बैठने की बेंच, म्यूजिक सिस्टम, सीसीटीवी सुरक्षा और धर्मशाला सेवाएं उपलब्ध है। मंदिर प्रांगण में प्रत्येक वर्ष भागवत कथा का आयोजन किया जाता है। इसके अलावा भक्तों द्वारा मंगलवार, गुरुवार और माह की दोनों एकादशी के दिन शाम को भजन-कीर्तन का गायन किया जाता है। बता दें कि मंदिर में भगवान शिव के पवित्र माह सावन के प्रत्येक दिन शिवलिंग के रुद्राभिषेक का विधान है। 



मंदिर की विशेषता 


मंदिर में चैत्र और शारदीय दोनों ही नवरात्रि पर्व के दौरान प्रतिदिन शाम में कीर्तन का आयोजन किया जाता है। नवरात्रि के नवमी वाले दिन विशाल भंडारा आयोजित किया जाता है। इसके अलावा हनुमान जन्मोत्सव पर भी सवा-मनी (50 kg) लड्डूओं का भोग लगाया जाता है और भंडारा एवं भजन-कीर्तन आयोजित होता है। इतना ही नहीं श्री कृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर मंदिर द्वारा भजन, ठाकुर जी का अभिषेक, लड्डू गोपाल जी का झूला तथा प्रसाद वितरण कराया जाता है। इसके उपरांत श्री कृष्ण जी की छठी पर कड़ी-चावल का भोग  भंडारे के प्रसाद के रूप में लोगों को वितरण किया जाता है। इसके बाद श्री राधाष्टमी की शाम में कीर्तन के साथ खीर का भोग एवं प्रसाद वितरण किया जाता है। 



कैसे पहुंचे 


मंदिर तक पहुँचने के लिए वैशाली एवं कौशाम्बी दोनों ही मेट्रो स्टेशन सुविधाजनक हैं। दोनों जगह से दूरी भी समान है। 


........................................................................................................
हो दीनानाथ(Ho Deenanath)

सोना सट कुनिया, हो दीनानाथ
हे घूमइछा संसार, हे घूमइछा संसार

हे गणपति हे गणराज, आपका अभिनन्दन (Hey Ganpati Hey Ganraj Aapka Abhinandan)

हे गणपति हे गणराज,
आपका अभिनन्दन,

हो गए भव से पार लेकर नाम तेरा(Ho Gaye Bhav Se Par Lekar Naam Tera)

हो गए भव से पार लेकर नाम तेरा
वाल्मीकि अति दुखी दीन थे,

हे गिरधर गोपाल लाल तू आजा मोरे आँगना (Hey Girdhar Gopaal Laal Tu Aaja More Angana)

हे गिरधर गोपाल लाल तू,
आजा मोरे आँगना,

यह भी जाने

संबंधित लेख

HomeAartiAartiTempleTempleKundliKundliPanchangPanchang