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भरदे रे श्याम झोली भरदे (Bharde Re Shyam Jholi Bhar De)

भरदे रे श्याम झोली भरदे (Bharde Re Shyam Jholi Bhar De)

भरदे रे श्याम झोली भरदे,

भरदे, ना बहला ओ बातों में,

ना बहला ओ, बातों में ॥


नादान है अनजान हैं,

श्याम तू ही मेरा भगवान है,

तुझे चाहूं तुझे पाऊं,

मेरे दिल का यही अरमान है,

पढ़ ले रे श्याम दिल की पढ़ले,

सब लिखा है आंखों में,

​भरदे रे श्याम झोली भरदे ॥


दिन बीते बीती रातें,

अपनी कितनी हुई रे मुलाकातें,

तुझे जाना पहचाना,

तेरे झूठे हुए रे सारे वादे,

भूले रे श्याम तुम तो भूले,

क्या रखा है बातों में,

​भर दे रे श्याम झोली भरदे ॥


मेरी नैया ओ कन्हैया,

पार करदे तू बनके खिवैया,

मैं तो हारा, गम का मारा,

आजा आजा ओ बंशी के बजैया,

लेले रे श्याम अब तो लेले,

लेले, मेरा हाथ हाथों में,

​भर दे रे श्याम झोली भरदे ॥


मैं हूं तेरा तू है मेरा,

मैंने डाला तेरे दर पे डेरा,

मुझे आस है विश्वास है,

श्याम भर देगा दामन तु मेरा,

झूमें रे श्याम ‘नन्दू’ झूमें,

झूमें, तेरी बांहों में,

भर दे रे श्याम झोली भरदे ॥


​भरदे रे श्याम झोली भरदे,

भरदे, ना बहला ओ बातों में,

ना बहला ओ, बातों में ॥

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16 March 2025 Panchang (16 मार्च 2025 का पंचांग)

पंचांग के अनुसार चैत्र माह के कृष्ण पक्ष की द्वितीया तिथि है। इस तिथि पर हस्त नक्षत्र और वृद्धि योग का संयोग बन रहा है।

17 March 2025 Panchang (17 मार्च 2025 का पंचांग)

पंचांग के अनुसार चैत्र माह के कृष्ण पक्ष की तृतीया तिथि है। इस तिथि पर चित्रा नक्षत्र और ध्रुव योग का संयोग बन रहा है। वहीं चंद्रमा तुला राशि में हैं और सूर्य मीन राशि में मौजूद हैं।

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चैत्र माह कब से शुरू होगा

चैत्र माह हिंदू पंचांग का पहला और अत्यंत पावन महीना है, जिसे भक्ति, साधना और आराधना का प्रतीक माना जाता है। इस महीने से न केवल हिन्दू नववर्ष की शुरुआत होती है, बल्कि प्रकृति में भी बदलाव दिखाई देता है।

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