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दिखाऊं कोनी लाड़लो, नजर लग जाए(Dikhao Koni Ladlo Najar Lag Jaaye)

दिखाऊं कोनी लाड़लो, नजर लग जाए(Dikhao Koni Ladlo Najar Lag Jaaye)

दिखाऊं कोनी लाड़लो,

नजर लग जाए,

नजर लग जाए रे,

जुलम होय जाए,

दिखाऊँ कोनी लाड़लो,

नजर लग जाए ॥


विषधर तेरे गले में लिपटे,

अंग भभूत रमाए,

तेरे रूप को देख के जोगी,

लाल मेरा डर जाए,

दिखाऊँ कोनी लाड़लो,

नजर लग जाए,

नजर लग जाए रे,

जुलम होय जाए,

दिखाऊँ कोनी लाड़लो,

नजर लग जाए ॥


सुन बाते मैया की भोले,

मंद मंद मुस्काए,

जिससे सारा जगत है डरता,

उसको कौन डराए,

दिखाऊँ कोनी लाड़लो,

नजर लग जाए,

नजर लग जाए रे,

जुलम होय जाए,

दिखाऊँ कोनी लाड़लो,

नजर लग जाए ॥


हो उदास शिव भोला शम्भु,

अपने कदम बढ़ाए,

शिव को जाते देख कन्हैया,

रो रो कर चिल्लाए,

दिखाऊँ कोनी लाड़लो,

नजर लग जाए,

नजर लग जाए रे,

जुलम होय जाए,

दिखाऊँ कोनी लाड़लो,

नजर लग जाए ॥


नन्द लाल का रोना सुनकर,

बोली मात यशोदा,

नजर लगा दी मेरे लाल को,

हाय हाय अब क्या होगा,

दिखाऊँ कोनी लाड़लो,

नजर लग जाए,

नजर लग जाए रे,

जुलम होय जाए,

दिखाऊँ कोनी लाड़लो,

नजर लग जाए ॥


इतना सुनकर मात यशोदा,

मोहन को ले आई,

दर्शन किये हरी के शिव ने,

‘राजू’ ख़ुशी मनाई,

दिखाऊँ कोनी लाड़लो,

नजर लग जाए,

नजर लग जाए रे,

जुलम होय जाए,

दिखाऊँ कोनी लाड़लो,

नजर लग जाए ॥


दिखाऊं कोनी लाड़लो,

नजर लग जाए,

नजर लग जाए रे,

जुलम होय जाए,

दिखाऊँ कोनी लाड़लो,

नजर लग जाए ॥

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क्या भगवान परशुराम आज भी जीवित हैं

हिन्दू धर्म में भगवान परशुराम प्रमुख और चिरंजीवी यानि अमर देवताओं में से एक माने जाते हैं। उन्हें भगवान विष्णु का छठा अवतार कहा गया है, जिनका धर्म की रक्षा और अधर्म के नाश के लिए अवतार हुआ था।

महाभारत में परशुराम ने किसे दी थी शस्त्र विद्या

भगवान परशुराम, जो भगवान विष्णु के छठे अवतार माने जाते हैं, वे न केवल धर्म के रक्षक थे बल्कि एक महान युद्ध आचार्य भी थे। उन्होंने कई महान योद्धाओं को शस्त्र और युद्ध की विद्या का ज्ञान दिया था, जिनमें से तीन शिष्य ऐसे थे जिन्होंने महाभारत के ऐतिहासिक युद्ध में कौरवों की सेना की डोर संभाली थी।

22 से 30 अप्रैल 2025 व्रत/त्योहार

अंग्रेजी कैलेंडर के हिसाब से अप्रैल साल का चौथा महीना होता है। अप्रैल का चौथा हफ्ता विभिन्न त्योहारों और उत्सवों से भरा हुआ है। इस हफ्ते में कई महत्वपूर्ण त्योहार पड़ेंगे।

भगवान परशुराम का फरसा इस जगह गड़ा है

भारत देश के झारखंड राज्य के गुमला जिले में स्थित टांगीनाथ धाम, भगवान परशुराम के शक्तिशाली फरसे के रहस्य के लिए प्रसिद्ध है। यह स्थान रांची से लगभग 150 किलोमीटर दूर एक ऊंची पहाड़ी पर स्थित है, जिसे धार्मिक आस्था और विश्वास का महत्वपूर्ण केंद्र माना जाता है।

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