जय जय गणपति गजानंद,
तेरी जय होवे,
जाऊं तोपे बलिहारी,
तेरी जय होवे,
जय जय गणपति गजानन्द,
तेरी जय होवे ॥
रिद्धि सिद्धि के दाता,
आप कहाते हो,
बिगड़ी हम सब की,
बाबा आप बनाते हो,
जय जय गिरिजा के नंदन,
जय जय गिरिजा के नंदन,
तेरी जय होवे,
जय जय गणपति गजानन्द,
तेरी जय होवे ॥
तेरा गजमुख रूप,
सभी भक्तों को भाया है,
सब देवो ने मिलकर,
गुणगान सुनाया है,
तेरी सुंदर मोहिनी मूरत,
तेरी सुंदर मोहिनी मूरत,
तेरी जय होवे,
जय जय गणपति गजानन्द,
तेरी जय होवे ॥
सेवा में खड़े है तेरी,
आज पधारो जी,
गोते खाये ये नैया,
आज सम्भालो जी,
कही डूब ना जाये जीवन,
कही डूब ना जाये जीवन,
तेरी जय होवे,
जय जय गणपति गजानन्द,
तेरी जय होवे ॥
जय जय गणपति गजानंद,
तेरी जय होवे,
जाऊं तोपे बलिहारी,
तेरी जय होवे,
जय जय गणपति गजानन्द,
तेरी जय होवे ॥
जुलाई का महीना प्रकृति और आस्था का अनूठा संगम लेकर आता है। इस समय मानसून की बारिश से धरती हरियाली से आच्छादित हो जाती है, पेड़-पौधे नए पत्तों और फूलों से सजते हैं और चारों ओर ताजगी का माहौल छा जाता है। यह समय प्रकृति की सुंदरता को निहारने और उसका आनंद लेने का है।
पंचांग के अनुसार, 2 जुलाई 2025 को आषाढ़ मास का शुक्ल पक्ष की सप्तमी तिथि रहेगी। आज विशाखा योग और उत्तरा फाल्गुनी नक्षत्र है। आज का तारीख का योग बनता है 2+7+2+0+2+5 = 18 = 9 यानी कुल योग 9 है। अंक 9 को मंगल ग्रह का अंक माना जाता है।
अंक ज्योतिष के अनुसार हर तारीख का एक विशेष महत्व होता है। हर अंक का एक अपना स्वभाव, प्रभाव और ऊर्जा होती है, जो हमारे जीवन में सकारात्मक या नकारात्मक प्रभाव डालती है। आज हम बात कर रहे हैं 3 जुलाई 2025 की, जिसमें दिनांक का कुल योग बनता हैI
आज का दिन आपके लिए कैसा रहेगा, यह जानने के लिए ज्योतिष और राशिफल के साथ-साथ अंक ज्योतिष भी अहम होता है। अंक ज्योतिष के अनुसार हर तारीख का एक मूलांक बनता है और उसी से आपके दिन की दिशा तय होती है।