Logo

मेरा हाथ पकड़ ले रे, कान्हा (Mera Haath Pakad Le Re, Kanha)

मेरा हाथ पकड़ ले रे, कान्हा (Mera Haath Pakad Le Re, Kanha)

मेरा हाथ पकड़ ले रे,

कान्हा दिल मेरा घबराये,

काले काले बादल,

गम के बादल,

सिर पे मेरे मंडराये,

॥ मेरा हाथ पकड़ लें रे, कान्हा...॥


अगर मेरे वश में,

होता कन्हैया,

तो पार लगाता मैं,

खुद अपनी नैया,

यहाँ वहाँ रखूं,

जहाँ जहाँ रखूं,

पाँव फिसलता जाये,

॥मेरा हाथ पकड़ लें रे, कान्हा..॥


अगर आना है तो,

आजा कन्हैया,

पार लगा जा,

बन के खिवैया,

धीरे धीरे करके,

थोड़ा थोड़ा करके,

वक्त गुजरता जाये रे,

॥मेरा हाथ पकड़ लें रे, कान्हा..॥


नहीं आना हो तो,

खबर भेजे देंना,

हालत उठाकर,

नज़र देख लेना,

कही ऐसा ना हो,

तेरे भरोसे,

बनवारी रह जाये रे,

॥मेरा हाथ पकड़ लें रे, कान्हा..॥


मेरा हाथ पकड़ ले रे,

कान्हा दिल मेरा घबराये,

काले काले बादल,

गम के बादल,

सिर पे मेरे मंडराये रे,

॥मेरा हाथ पकड़ लें रे, कान्हा..॥


मेरा हाथ पकड़ ले रे,

कान्हा दिल मेरा घबराये,

काले काले बादल,

गम के बादल,

सिर पे मेरे मंडराये


........................................................................................................
गुड़ी पड़वा (Gudi Padwa)

गुड़ी पड़वा हिंदू धर्म में एक विशेष स्थान रखता है। ऐसा माना जाता है कि गुड़ी को घर पर फहराने से घर से नकारात्मक शक्तियां दूर हो जाती हैं और जीवन में सौभाग्य और समृद्धि आती है।

महिषासुरमर्दिनि स्तोत्रम् - अयि गिरिनन्दिनि , Mahishasuramardini Stotram - Aayi Girinandini

अयि गिरिनन्दिनि नन्दितमेदिनि विश्वविनोदिनि नन्दिनुते
गिरिवरविन्ध्यशिरोऽधिनिवासिनि विष्णुविलासिनि जिष्णुनुते ।

दुर्गा पूजा पुष्पांजली

प्रथम पुष्पांजली मंत्र
ॐ जयन्ती, मङ्गला, काली, भद्रकाली, कपालिनी ।
दुर्गा, शिवा, क्षमा, धात्री, स्वाहा, स्वधा नमोऽस्तु ते॥
एष सचन्दन गन्ध पुष्प बिल्व पत्राञ्जली ॐ ह्रीं दुर्गायै नमः॥ Pratham Puspanjali Mantra
om jayanti, mangla, kali, bhadrakali, kapalini .
durga, shiva, kshama, dhatri, svahaa, svadha namo̕stu te॥
esh sachandan gandh pusp bilva patranjali om hrim durgaye namah॥

शिव पंचाक्षर स्तोत्र मंत्र (Shiv Panchakshar Stotram )

॥ श्रीशिवपञ्चाक्षरस्तोत्रम् ॥
नागेन्द्रहाराय त्रिलोचनाय,
भस्माङ्गरागाय महेश्वराय ।
नित्याय शुद्धाय दिगम्बराय,
तस्मै न काराय नमः शिवाय ॥१॥ ॥ Shrishivpanchaksharastotram ॥
nagendraharay trilochanay,
bhasmangaragay maheshvaray .
nityay shuddhay digambaray,
tasmai na karay namah shivay .1.

यह भी जाने

संबंधित लेख

HomeAartiAartiTempleTempleKundliKundliPanchangPanchang