मोहे होरी में कर गयो तंग ये रसिया माने ना मेरी(Mohe Hori Mein Kar Giyo Tang Ye Rashiyan Mane Na Meri)

मोहे होरी में कर गयो तंग ये रसिया माने ना मेरी,

माने ना मेरी माने ना मेरी,

मोहे होली में कर गयो तंग ॥


ग्वाल बालन संग घेर लई मोहे इकली जान के,

भर भर मारे रंग पिचकारी मेरे सन्मुख तान के,

या ने ऐसो,

या ने ऐसो या ने ऐसो मचायो हुरदंग,

ये रसिया माने ना मेरी ॥


जित जाऊँ मेरे पीछे डोले जान जान के अटके,

ना माने होरी में कहूं की ये तो गलिन गलिन में मटके,

ना ऐ होरी,

ना ऐ होरी ना ऐ होरी खेलन को ढंग,

ये रसिया माने ना मेरी ॥


रंग बिरंगे चित्र विचित्र बनाए दिए होरी में,

पिचकारी में रंग रीत गयो भर ले कमोरी ते,

पागल ने,

पागल ने पागल ने छनाए दई भंग,

ये रसिया माने ना मेरी ॥

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पहले ध्यान श्री गणेश का, मोदक भोग लगाओ (Pehle Dhyan Shree Ganesh Ka Modak Bhog Lagao)

पहले ध्यान श्री गणेश का,
मोदक भोग लगाओ,

जपे जा तू बन्दे, सुबह और शाम (Jape Ja Tu Bande Subah Aur Sham)

जपे जा तू बन्दे,
सुबह और शाम,

चलो शिव शंकर के मंदिर में भक्तो (Chalo Shiv Shankar Ke Mandir Me Bhakto)

लिया नाम जिसने भी शिवजी का मन से,
उसे भोले शंकर ने अपना बनाया ।

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