रानी सती आज मेरे घर आई,
घर आई माँ घर आई,
मुझपे तरस ये खा गई,
और मेरा मान बढ़ा गई,
राणी सती आज मेरे घर आई,
घर आई माँ घर आई ॥
सुन ली मेरी दादी ने फरियाद,
रखली माँ ने बेटी की अब लाज,
अर्जी मेरी इसने सुनी,
अर्जी मेरी इसने सुनी,
मेरा साथ निभा गई,
और दुनिया को दिखला गई,
राणी सती आज मेरे घर आई,
घर आई माँ घर आई ॥
कैसे करूँ मैं दादी का सत्कार,
बेटी तो बस दे सकती है प्यार,
सुख की घडी आई बड़ी,
सुख की घडी आई बड़ी,
ये साँची प्रीत निभा गई,
और रुखा सूखा खा गई,
राणी सती आज मेरे घर आई,
घर आई माँ घर आई ॥
दिल में मेरे दादी की तस्वीर,
‘हर्ष’ जगी है आज मेरी तकदीर,
माँ के भजन गाउँ सदा,
माँ के भजन गाउँ सदा,
ये मुझसे प्यार जता गई,
और सिंह पे चढ़ कर आ गई,
राणी सती आज मेरे घर आई,
घर आई माँ घर आई ॥
रानी सती आज मेरे घर आई,
घर आई माँ घर आई,
मुझपे तरस ये खा गई,
और मेरा मान बढ़ा गई,
राणी सती आज मेरे घर आई,
घर आई माँ घर आई ॥
ॐ जय शिव ओंकारा, स्वामी जय शिव ओंकारा।
ब्रह्मा, विष्णु, सदाशिव, अर्द्धांगी धारा ॥
ॐ जय गङ्गाधर हर, जय गिरिजाधीशा।
त्वं मां पालय नित्यं, कृपया जगदीशा॥
ॐ जय लक्ष्मी माता, मैया जय लक्ष्मी माता ।
तुमको निसदिन सेवत, हर विष्णु विधाता ॥
ॐ जय चित्रगुप्त हरे, स्वामी जय चित्रगुप्त हरे ।
भक्तजनों के इच्छित, फलको पूर्ण करे॥