सुन री यशोदा मैया,
तेरे नंदलाल रे,
कंकरिया से मटकी फोड़ी,
कंकरिया से मटकी फोड़ी,
मदन गोपाल रे,
कंकरिया से मटकी फोड़ी ॥
नानो कन्हैया तेरो बड़ा उत्पाती,
संग में ग्वाल बाल खुरापाती,
कर दे डगरिया पे,
कर दे डगरिया पे,
कर दे डगरिया पे चलना मोहाल रे,
कंकरिया से मटकी फोड़ी,
मदन गोपाल रे,
कंकरिया से मटकी फोड़ी ॥
छाछ दही माखन को बेरी,
दाड़ो ढीठ डाटे से ना डरे री,
ऊँचे छीके टांगी,
ऊँचे छीके टांगी,
ऊँचे छीके टांगी बहुत संभाल रे,
कंकरिया से मटकी फोड़ी,
मदन गोपाल रे,
कंकरिया से मटकी फोड़ी ॥
सुन री यशोदा मैया,
तेरे नंदलाल रे,
कंकरिया से मटकी फोड़ी,
कंकरिया से मटकी फोड़ी,
मदन गोपाल रे,
कंकरिया से मटकी फोड़ी ॥
किस्मत को मेरी आज,
बना क्यों नहीं देते,
कितना प्यारा है सिंगार,
की तेरी लेउ नज़र उतार,
कर दो दूर प्रभु,
मेरे मन में अँधेरा है,
कितना रोई पार्वती,
शिवनाथ के लिए,