है नया ओज है नया तेज,
आरंभ हुआ नव चिंतन
विराट भारत विशाल भारत,
कर रहा नवयुग का अभिनंदन
हर-हर में घर-घर में स्वर्ण स्वर भारत
हर-हर में घर-घर में स्वर्ण स्वर भारत
सतयुग त्रेता द्वापर के बाद,
प्रारंभ हुआ परिवर्तन
सतयुग त्रेता द्वापर के बाद,
प्रारंभ हुआ परिवर्तन
दिव्य अलौकिक अखंड भारत,
कर रहा नवयुग का अभिनंदन
दिव्य अलौकिक अखंड भारत,
कर रहा नवयुग का अभिनंदन
कण-कण में मन-मन में स्वर्ण स्वर भारत
कण-कण में मन-मन में स्वर्ण स्वर भारत
अंतरनाद बजा
जल थल नभ गूंज उठा
देवलोक में उत्सव से
ब्रम्हांड झूम उठा
कोश-कोश तृण-तृण हर जीवन
हो रहा नादब्रह्म से पावन
कोश-कोश तृण-तृण हर जीवन
हो रहा नादब्रह्म से पावन
दिव्य अलौकिक अखंड भारत,
कर रहा नवयुग का अभिनंदन
BhaktiBharat Lyrics
हृदय-हृदय उदय-उदय स्वर्ण स्वर भारत
हृदय-हृदय उदय-उदय स्वर्ण स्वर भारत
हृदय-हृदय उदय-उदय स्वर्ण स्वर भारत
हृदय-हृदय उदय-उदय स्वर्ण स्वर भारत
चिंतन में मंथन में स्वर्ण स्वर भारत
चिंतन में मंथन में स्वर्ण स्वर भारत
चिंतन में मंथन में स्वर्ण स्वर भारत
चिंतन में मंथन में स्वर्ण स्वर भारत
हरयुग में नवयुग में स्वर्ण स्वर भारत
हरयुग में नवयुग में स्वर्ण स्वर भारत
हरयुग में नवयुग में स्वर्ण स्वर भारत
हरयुग में नवयुग में स्वर्ण स्वर भारत
पितृपक्ष, जिसे श्राद्ध पक्ष और महालय के नाम से भी जाना जाता है, वह विशेष समय होता है जब हम अपने पूर्वजों और पितरों का तर्पण और पिंडदान करते हैं।
जानें कौन सी तिथि पर श्राद्ध करने से मिलेगी आपके पूर्वजों की आत्मा को शांति
बिहार के गया जिले में इस वर्ष के आज से शुरू हो रहे पितृपक्ष मेले को लेकर विशेष तैयारियां पूर्ण की जा चुकी है।
गया में पितृपक्ष मेला एक अत्यंत महत्वपूर्ण धार्मिक आयोजन है, जिसमें देश-विदेश से लाखों तीर्थ यात्रा अपने पूर्वजों का पिंडदान करने के लिए आते हैं