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भाद्रपद माह 2025 की कालाष्टमी

भाद्रपद माह 2025 की कालाष्टमी

Kalashtami 2025: भाद्रपद मास की कालाष्टमी कब है, जानें तिथि-मुहूर्त, मंत्र और धार्मिक महत्व 

कालाष्टमी का दिन भगवान काल भैरव को समर्पित होता है, जो भगवान शिव के रौद्र रूप माने जाते हैं। काल भैरव की उपासना करने से भक्तों के जीवन से नकारात्मक ऊर्जा दूर होती है, भय समाप्त होता है और कठिनाइयों का निवारण होता है। ऐसा माना जाता है कि इस दिन विधिवत पूजा करने से व्यक्ति के जीवन में सुख-समृद्धि और मानसिक शांति आती है।

भाद्रपद मास कालाष्टमी तिथि 

पंचांग के अनुसार, कालाष्टमी का व्रत और पूजा उदयातिथि के आधार पर की जाती है, इसलिए इस वर्ष भाद्रपद मास की कालाष्टमी 26 अगस्त को ही मनाई जाएगी।

  • अष्टमी तिथि प्रारंभ: 26 अगस्त, 2025, सुबह 10:33 बजे
  • अष्टमी तिथि समाप्त: 27 अगस्त, 2025, सुबह 09:46 बजे 

कालाष्टमी का धार्मिक महत्व

काल भैरव को समय और न्याय का देवता भी माना जाता है। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, भगवान शिव ने ब्रह्मा जी के अहंकार को दूर करने के लिए काल भैरव का रूप धारण किया था। इसीलिए कालाष्टमी पर भगवान भैरव की पूजा से व्यक्ति के अहंकार, क्रोध और नकारात्मक भाव समाप्त होते हैं।

कालाष्टमी पर करें ‘ॐ काल भैरवाय नमः’ मंत्र का जाप

  • प्रातःकाल स्नान कर स्वच्छ वस्त्र धारण करें।
  • भगवान काल भैरव के चित्र या प्रतिमा के सामने दीपक जलाएं और धूप-फूल अर्पित करें।
  • तिल, काले फूल, काला वस्त्र और नारियल अर्पित करना विशेष फलदायी माना जाता है।
  • काल भैरव के प्रिय वाहन कुत्तों को भोजन कराना अत्यंत शुभ माना जाता है।
  • ‘ॐ काल भैरवाय नमः’ मंत्र का जप करें और काल भैरव चालीसा या स्तुति का पाठ करें।

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