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लाल लाल चुनरी की अजब कहानी (Lal Lal Chunari Ki Ajab Kahani)

लाल लाल चुनरी की अजब कहानी (Lal Lal Chunari Ki Ajab Kahani)

लाल लाल चुनरी की अजब कहानी ॥


दोहा – लाली मेरी मात की,

जित देखूं तित लाल,

लाली देखन मैं गया,

मैं भी हो गया लाल ॥


लाल लाल चुनरी की अजब कहानी,

ओढ़ के आई मेरी अंबे भवानी,

अंबे भवानी जगदंबे भवानी,

अंबे भवानी जगदंबे भवानी ॥


ब्रह्मा जी ने इसको बनाया,

विष्णु ने डारी जरतारी,

चम चम चम चम चमके चुनरिया,

भोले ने है रंग डारी,

भक्ति भाव से भगत चढ़ाते,

भक्ति भाव से भगत चढ़ाते,

जो है प्रीत की निशानी,

लाल लाल चुनरीं की अजब कहानी,

ओढ़ के आई मेरी अंबे भवानी ॥


मैया के भावे मोरी लाल चुनरिया,

जी भर देखूं पर हटे ना नजरिया,

मैया के भावे मोरी लाल चुनरिया,

जी भर देखूं पर हटे ना नजरिया,

तोहे ध्याऊ में सांझ सवेरे,

तोहे ध्याऊ में सांझ सवेरे,

तु जगत की मां वरदानी,

लाल लाल चुनरीं की अजब कहानी,

ओढ़ के आई मेरी अंबे भवानी ॥


प्रीत का बंधन कभी ना टूटे,

मैया मोरी तू ना रूठे,

दम जो निकले तेरे चरणों में,

‘साहिल’ का ये दर न छूटे,

माफ हमे मां कर देना गर,

माफ हमें मां कर देना गर,

हो जाए जो नादानी,

लाल लाल चुनरीं की अजब कहानी,

ओढ़ के आई मेरी अंबे भवानी ॥


लाल लाल चुनरीं की अजब कहानी,

ओढ़ के आई मेरी अंबे भवानी,

अंबे भवानी जगदंबे भवानी,

अंबे भवानी जगदंबे भवानी ॥

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तू जब जब हमको बुलाये हम दौडे आये - भजन (Tu Jab Jab Humko Bulaye Hum Dode Aaye)

तेरे भवन के अजब नज़ारे,
तेरे गूँज रहे जयकारे,

तू मेरा राखा सबनी थाई - गुरुवाणी शब्द कीर्तन (Tu Mera Rakha Sabni Thai)

तू मेरा राखा, सबनी थाई
तां भौ के हा काढा जी,

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