दिया थाली बिच जलता है(Diya Thali Vich Jalta Hai)

दिया थाली बिच जलता है,

ऊपर माँ का भवन बना,

नीचे गंगा जल बहता है ॥

दिया थाली बिच जलता है ।

ऊपर माँ का भवन बना,

नीचे गंगा जल बहता है ॥


माँ के माथे पे टीका है,

माँ की बिंदिया ऐसे चमके,

जैसे चाँद चमकता है ॥

दिया थाली बिच जलता है ।

ऊपर माँ का भवन बना,

नीचे गंगा जल बहता है ॥


माँ के गले में हरवा है,

माँ के झुमके ऐसे चमकें,

जैसे चाँद चमकता है ॥

दिया थाली बिच जलता है ।

ऊपर माँ का भवन बना,

नीचे गंगा जल बहता है ॥


माँ के हाथों में चूड़ियां है,

माँ के कंगन, मेंहदी ऐसे चमके

जैसे चाँद चमकता है ॥

दिया थाली बिच जलता है ।

ऊपर माँ का भवन बना,

नीचे गंगा जल बहता है ॥


मां के पैरों में पायल हैं,

मां के बिछुए ऐसे चमके,

जैसे चाँद चमकता है ॥

दिया थाली बिच जलता है ।

ऊपर माँ का भवन बना,

नीचे गंगा जल बहता है ॥


माँ के अंग पे साड़ी है,

माँ की चुनरी ऐसे चमके,

जैसे चाँद चमकता है ॥

दिया थाली बिच जलता है ।

ऊपर माँ का भवन बना,

नीचे गंगा जल बहता है ॥

........................................................................................................
गणपति राखो मेरी लाज (Ganpati Rakho Meri Laaj)

गणपति राखो मेरी लाज,
गणपति राखो मेरी लाज,

दया करो हे दयालु गणपति(Daya Karo Hey Dayalu Ganpati)

शरण में आये है हम तुम्हारी,
दया करो हे दयालु गणपति,

है हारें का सहारा श्याम (Hai Haare Ka Sahara Shyam)

है हारे का सहारा श्याम,
लखदातार है तू ॥

मईया जी से होगा मिलन धीरे धीरें (Maiya Ji Se Hoga Milan Dheere Dheere)

लग जाएगी लगन धीरे धीरे,
मैया जी से होगा मिलन धीरे धीरे,

डिसक्लेमर

'इस लेख में दी गई जानकारी/सामग्री/गणना की प्रामाणिकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। सूचना के विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/धार्मिक मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संकलित करके यह सूचना आप तक प्रेषित की गई हैं। हमारा उद्देश्य सिर्फ सूचना पहुंचाना है, पाठक या उपयोगकर्ता इसे सिर्फ सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त इसके किसी भी तरह से उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता या पाठक की ही होगी।