गणपति जी गणेश नू मनाइये,
सारे काम रास होणगे,
हर काम नाल पहला ही धियाइये,
सारे काम रास होणगे,
गणपति जी गणेश नू ध्याइये,
सारे काम रास होणगे,
सारे काम रास होणगे ॥
गौरा माँ दा मान है गणपत,
शिव जी दा वरदान है गणपत,
पेहला लड्डूवा दा भोग लगाइये,
सारे काम रास होणगे,
गणपति जी गणेश नू ध्याइये,
सारे काम रास होणगे ॥
गणपति वरगा देव ना दूजा,
सबतो पहले होणदि पूजा,
गजमुख जी गुण सारे गाइये,
सारे काम रास होणगे,
गणपति जी गणेश नू मनाईये,
सारे काम रास होणगे ॥
चमका मारे सोहणा वेशे,
कुण्डला वाले काले केशे,
धूल मत्थे नाल चरणा दी लाइये,
सारे काम रास होणगे,
गणपति जी गणेश नू मनाईये,
सारे काम रास होणगे ॥
गणपति जी गणेश नू मनाइये,
सारे काम रास होणगे,
हर काम नाल पहला ही धियाइये,
सारे काम रास होणगे,
गणपति जी गणेश नू ध्याइये,
सारे काम रास होणगे,
सारे काम रास होणगे ॥
साल 2024 की पौष माह की अमावस्या सोमवार, 30 दिसंबर को पड़ रही है। यह साल 2024 की आखिरी अमावस्या होने वाली है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इस तिथि पर भगवान शिव की पूजा का विधान है।
पार करो मेरा बेडा भवानी,
पार करो मेरा बेडा।
हिंदू धर्म में प्रत्येक दिन किसी न किसी देवता को समर्पित है। उसी प्रकार, गुरुवार का दिन देवताओं के गुरु बृहस्पति देव का दिन होता है। मान्यता है कि इस दिन विधि-विधान से बृहस्पति की पूजा करने से व्यक्ति के जीवन के सारे कष्ट दूर हो जाते हैं।
सनातन हिंदू धर्म में अमावस्या तिथि काफ़ी महत्वपूर्ण माना जाता है। अमावस्या तिथि कृष्ण पक्ष के अंतिम दिन होती है और इस दिन आकाश में चांद दिखाई नहीं देता है। प्रत्येक साल कुल 12 अमावस्या पड़ती हैं।