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छठ पूजा: कांच ही बांस के बहंगिया (Chhath Puja: Kanch Hi Bans Ke Bahangiya)

छठ पूजा: कांच ही बांस के बहंगिया (Chhath Puja: Kanch Hi Bans Ke Bahangiya)

कांच ही बांस के बहंगिया,

बहंगी लचकत जाय

बहंगी लचकत जाय

होई ना बलम जी कहरिया,

बहंगी घाटे पहुंचाय


कांच ही बांस के बहंगिया,

बहंगी लचकत जाय

बहंगी लचकत जाय


बाट जे पूछेला बटोहिया,

बहंगी केकरा के जाय

बहंगी केकरा के जाय

तू तो आन्हर होवे रे बटोहिया,

बहंगी छठ मैया के जाय

बहंगी छठ मैया के जाय

ओहरे जे बारी छठि मैया,

बहंगी उनका के जाय

बहंगी उनका के जाय


कांच ही बांस के बहंगिया,

बहंगी लचकत जाय

बहंगी लचकत जाय

होई ना देवर जी कहरिया,

बहंगी घाटे पहुंचाय

बहंगी घाटे पहुंचाय

ऊंहवे जे बारि छठि मैया

बहंगी के उनके के जाय

बहंगी उनका के जाय


बाट जे पूछेला बटोहिया

बहंगी केकरा के जाय

बहंगी केकरा के जाय

तू तो आन्हर होवे रे बटोहिया

बहंगी छठ मैया के जाय

बहंगी छठ मैया के जाय

ऊंहवे जे बारी छठि मैया

बहंगी उनका के जाय

बहंगी उनका के जाय

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यहाँ वहाँ जहाँ तहाँ (Yahan Wahan Jahan Tahan)

यहाँ वहाँ जहाँ तहाँ,
मत पूछो कहाँ-कहाँ,

ही आशा लेकर आती हूँ ( Yahi Aasha Lekar Aati Hu)

यही आशा लेकर आती हूँ,
हर बार तुम्हारे मंदिर में,

यही है प्रार्थना प्रभुवर (Yahi Hai Rrarthana Prabhuvar Jeevan Ye Nirala Ho)

सरलता, शीलता, शुचिता हों भूषण मेरे जीवन के।
सचाई, सादगी, श्रद्धा को मन साँचे में ढाला हो॥

यही वो तंत्र है यही वो मंत्र है (Yahi Wo Tantra Hai Yahi Wo Mantra Hai )

बम भोले बम भोले बम बम बम,
यही वो तंत्र है यही वो मंत्र है,

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