फुलेरा दूज का त्योहार फाल्गुन माह के शुक्ल पक्ष की द्वितीया तिथि को मनाया जाता है। यह दिन भगवान श्रीकृष्ण को समर्पित होता है और धूमधाम से मनाया जाता है। इस दिन मथुरा, वृंदावन, नंदगांव और बरसाना में फूलों से होली खेली जाती है। भगवान कृष्ण को सजाया जाता है। इसके अलावा फुलेरा दूज के साथ होली की तैयारियां आरंभ हो जाती हैं। इस बार फुलेरा दूज 1 मार्च 2025 को मनाई जाएगी। आइए आपको लेख के जरिए श्रीकृष्ण को संबंधित इस त्योहार के बारे में विस्तार से बताते हैं।
इस त्योहार का सीधा संबंध भगवान कृष्ण की बाल लीलाओं और प्रेम भाव से है। मान्यता है कि इस दिन श्रीकृष्ण और राधा रानी ने वृंदावन में फूलों की होली खेली थी, जो आगे जाकर प्रेम, स्नेह और आनंद का प्रतीक बन गई।
इस दिन भगवान श्रीकृष्ण को मंदिरों में विभिन्न प्रकार के फूलों से सजाया जाता है। मंदिरों में रंग-बिरंगे फूलों की वर्षा की जाती है। भक्तजन भी एक-दूसरे पर फूल डालकर श्रीकृष्ण और राधा के दिव्य प्रेम का उत्सव धूमधाम से मनाते हैं।
श्रीकृष्ण के जन्मस्थल वाले बृज इलाके में फुलेरा दूज मनाने की खास तैयारियां की जाती है। मथुरा, वृंदावन, बरसाना और नंदगांव के मंंदिरों में भगवान श्रीकृष्ण की विशेष पूजा होती है और भव्य झांकी सजाई जाती है।
भगवान श्रीकृष्ण को समर्पित यह दिन उनकी लीलाओं को याद करने और उनकी भक्ति में लीन होने का दिन है।इस कारण से भजन-कीर्तन से श्रीकृष्ण की आराधना करते हैं।
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