हे उतर रही हे उतर रही
मेरे राम की सवारी हो
स्वागत करता स्वयं मेरे
भोले भंडारी हो
हे उतर रही हे उतर रही
मेरे राम की सवारी हो
स्वागत करता स्वयं मेरे
भोले भंडारी हो
सोने की नगरी रत्नों की धरती
चमक न्यारी हो
स्वागत करता स्वयं मेरे
भोले भंडारी हो
एक ही नाम का
एक ही काम का
चहूं ओर घन घोर
जय घोष श्री राम का
बदल रहा युग बदल रहा हेरी
बदल रहा युग बदल रहा
देवों ने आरती उतारी हो
स्वागत करता स्वयं मेरे
भोले भंडारी हो
स्वागत करता स्वयं मेरे
भोले भंडारी हो
हमरे भी द्वारे
तुम्हरे भी द्वारे
आंगन आंगन घर घर
राम जी पधारे
झूमे नभ जल थल
तीनों लोकों में हल चल
मच रही भारी हो
स्वागत करता स्वयं मेरे
भोले भंडारी हो
हे उतर रही हे उतर रही
मेरे राम की सवारी हो
स्वागत करता स्वयं मेरे
भोले भंडारी हो
सोने की नगरी रत्नों की धरती
चमक न्यारी हो
स्वागत करता स्वयं मेरे
भोले भंडारी हो
स्वागत करता स्वयं मेरे
भोले भंडारी हो
स्वागत करता स्वयं मेरे
भोले भंडारी हो
भोले भंडारी हो
अनंग त्रयोदशी का व्रत हर साल मार्गशीर्ष माह के शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि को रखा जाता है। 2024 में यह व्रत 13 दिसंबर को पड़ेगा। इस दिन प्रदोष व्रत भी रखा जाएगा, जो मार्गशीर्ष महीने का आखिरी प्रदोष व्रत है।
सनातन धर्म में मंगलवार का दिन हनुमान जी को समर्पित माना गया है। इस दिन विधिपूर्वक पूजा और व्रत करने से जातक की आर्थिक तंगी, शारीरिक पीड़ा और मानसिक तनाव समाप्त हो जाते हैं।
भगवान गणेश को विघ्नहर्ता कहा जाता है। किसी भी शुभ काम को शुरू करने से पहले गणेश भगवान को याद किया जाता है, ताकि उस काम में कोई बाधा न आए।
सनातन धर्म में गुरुवार का दिन भगवान विष्णु और देवगुरु बृहस्पति को समर्पित है। इस दिन श्रद्धा से पूजा, व्रत और दान करने से जीवन की सभी समस्याएं समाप्त होती हैं।