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जिस ओर नजर फेरूं दादी, चहुँ ओर नजारा तेरा है (Jis Aur Nazar Ferun Dadi Chahun Aur Nazara Tera Hai)

जिस ओर नजर फेरूं दादी, चहुँ ओर नजारा तेरा है (Jis Aur Nazar Ferun Dadi Chahun Aur Nazara Tera Hai)

जिस ओर नजर फेरूं दादी,

चहुँ ओर नजारा तेरा है,

सतियों में तू सिरमौर है माँ,

साँचा ये द्वारा तेरा है,

जिस ओर नजर फेरूँ दादी,

चहुँ ओर नजारा तेरा है ॥


तू मेरी है मैं तेरी हूँ,

तू चंदा है मैं चकोरी हूँ,

तेरे होते ही रोशन दादी,

किस्मत का सितारा मेरा है,

जिस ओर नजर फेरूँ दादी,

चहुँ ओर नजारा तेरा है ॥


मैं तेरा ध्यान लगाती हूँ,

माँ पास तुझे मैं पाती हूँ,

दुनिया की ना दरकार मुझे,

बस एक सहारा तेरा है,

जिस ओर नजर फेरूँ दादी,

चहुँ ओर नजारा तेरा है ॥


तू हाथ पकड़ के चलती है,

तुझसे ही मेरी हस्ती है,

नैया की खेवनहार तू ही,

तू ही तो किनारा मेरा है,

जिस ओर नजर फेरूँ दादी,

चहुँ ओर नजारा तेरा है ॥


मेरी डोर तुम्हारे हाथों में,

‘स्वाति’ की बसी हो सांसो में,

कहे ‘हर्ष’ वही मुड़ जाती हूँ,

जिसे जगत ईशारा तेरा है,

जिस ओर नजर फेरूँ दादी,

चहुँ ओर नजारा तेरा है ॥


जिस ओर नजर फेरूं दादी,

चहुँ ओर नजारा तेरा है,

सतियों में तू सिरमौर है माँ,

साँचा ये द्वारा तेरा है,

जिस ओर नजर फेरूँ दादी,

चहुँ ओर नजारा तेरा है ॥

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शाही स्नान के बाद क्या करना चाहिए?

महाकुंभ की शुरुआत में अब कुछ ही समय बाकी है, और इसमें शाही स्नान का महत्व अत्यधिक है। 12 साल में एक बार होने वाला यह महाकुंभ, न केवल शरीर की शुद्धि के लिए बल्कि आत्मिक उन्नति के लिए भी एक खास अवसर है। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, शाही स्नान से व्यक्ति के सभी पाप और कष्ट नष्ट हो जाते हैं, और देवी-देवता भी इस समय धरती पर आते हैं।

कुंभ मेले में अपने साथ रखें ये सामान

कुंभ के दिव्य स्नान और आध्यात्मिक अनुष्ठानों के लिए श्रद्धालुओं की धड़कनें बढ़ चुकी हैं। ट्रेन, बस और होटलों की बुकिंग में भी बेतहाशा रफ्तार आई है, क्योंकि लाखों लोग इस ऐतिहासिक मौके का हिस्सा बनने के लिए तैयार हैं।

महाकुंभ 2025 में किन बातों का रखें ध्यान

कुम्भ मेला एक ऐसा अवसर है जब श्रद्धालु पुण्य अर्जित करने के लिए संगम स्नान, दान और ध्यान करते हैं। इस पवित्र अवसर पर यह सुनिश्चित करना बहुत जरूरी है कि हम कोई ऐसा कार्य न करें जिससे पाप का अर्जन हो जाए।

महाकुंभ के लिए 3 जरूरी उपाय

इस साल, 13 जनवरी से 27 फरवरी तक प्रयागराज में महाकुंभ का भव्य आयोजन होने जा रहा है। इस दौरान लाखों श्रद्धालु और साधु-संत संगम के तट पर एकत्रित होंगे, जहां पवित्र गंगा, यमुना और संगम के जल में स्नान करने के लिए लोग दूर-दूर से आते हैं।

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