Chhoti Diwali Hanuman Puja 2025 Date: दिवाली से एक दिन पहले मनाई जाने वाली छोटी दिवाली का धार्मिक महत्व बहुत खास होता है। इसे नरक चतुर्दशी या हनुमान चतुर्दशी भी कहा जाता है। इस दिन भगवान हनुमान जी की पूजा करने का विशेष विधान है। मान्यता है कि छोटी दिवाली की रात में की गई हनुमान पूजा से नकारात्मक शक्तियों का नाश होता है और व्यक्ति को जीवन में बल, बुद्धि और सफलता का आशीर्वाद प्राप्त होता है। ऐसे में आइए जानते हैं छोटी दिवाली की हनुमान पूजा कब है?
दृक पंचांग के अनुसार, साल 2025 में छोटी दिवाली 19 अक्टूबर, रविवार को मनाई जाएगी। कार्तिक कृष्ण चतुर्दशी तिथि 19 अक्टूबर को दोपहर 1 बजकर 51 मिनट से शुरू होकर 20 अक्टूबर, सोमवार को दोपहर 3 बजकर 44 मिनट तक रहेगी। निशिता काल यानी मध्यरात्रि के समय हनुमान जी की पूजा सबसे शुभ मानी गई है। इस साल पूजा का शुभ मुहूर्त रात 11 बजकर 41 मिनट से लेकर 12 बजकर 31 मिनट तक रहेगा। यानी भक्तों को कुल 51 मिनट का पावन समय मिलेगा, जिसमें वे वीर हनुमान जी की आराधना कर सकते हैं।
इसके अलावा इस दिन ब्रह्म मुहूर्त सुबह 4:43 से 5:34 तक रहेगा, जबकि अभिजीत मुहूर्त दोपहर 11:43 से 12:29 तक रहेगा। इन समयों में पूजा-पाठ या संकल्प करना अत्यंत शुभ माना जाता है।
इस बार छोटी दिवाली की रात हनुमान पूजा तीन शुभ योगों में की जाएगी। जिनमें सर्वार्थ सिद्धि योग, अमृत सिद्धि योग और इंद्र योग शामिल हैं। सर्वार्थ सिद्धि योग पूरे दिन रहेगा, जो सभी कार्यों को सफल बनाने वाला योग माना गया है। वहीं अमृत सिद्धि योग शाम 5 बजकर 49 मिनट से अगले दिन सुबह 6 बजकर 25 मिनट तक रहेगा। इंद्र योग भी इस दिन विशेष रूप से फलदायी रहेगा। मान्यता है की इन तीनों योगों में पूजा करने से व्यक्ति की हर मनोकामना पूरी होती है और जीवन में शुभता बढ़ती है।
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, चतुर्दशी की रात में नकारात्मक शक्तियों का प्रभाव सबसे अधिक होता है। इस समय हनुमान जी का नाम लेने और उनकी पूजा करने से सभी बुरी शक्तियां दूर हो जाती हैं। हनुमान चालीसा में भी कहा गया है कि “भूत पिशाच निकट नहीं आवे, महावीर जब नाम सुनावे।” इसलिए इस रात हनुमान पूजा करने से घर में सुरक्षा, शक्ति और शांति का वास होता है।
रामायण के अनुसार, भगवान हनुमान ने प्रभु श्रीराम की सहायता से सीता माता की खोज की, लंका दहन किया और लक्ष्मण जी के प्राण बचाए। उनकी सेवा और भक्ति से प्रसन्न होकर श्रीराम ने उन्हें वरदान दिया कि दिवाली से पहले वाली चतुर्दशी पर उनकी पूजा की जाएगी। तभी से छोटी दिवाली पर हनुमान जी की आराधना का चलन शुरू हुआ।
हर साल की तरह इस बार भी अयोध्या के प्रसिद्ध हनुमानगढ़ी मंदिर में छोटी दिवाली की रात विशेष पूजा-अर्चना की जाएगी। श्रद्धालु दीप जलाकर हनुमान जी से अपने जीवन में सुख-समृद्धि, बल और सुरक्षा की कामना करते हैं।